बिलासपुर की साफ-सफाई का रियलिटी चेक:5 साल में 18 से 29 करोड़ पहुंचा बजट, फिर भी स्वच्छता में 28वीं रैंक पर शहर
छत्तीसगढ़ की न्यायधानी बिलासपुर में सफाई का खर्च पिछले पांच वर्षों में 18.69 करोड़ से 29 करोड़ रुपए सालाना पर पहुंच गया। इसके बावजूद स्वच्छता सर्वेक्षण की रैंकिंग 11 से और नीचे गिरकर साल 2023 में 28वें पायदान पर पहुंच गई। साल 2024 की रैंकिंग के लिए सर्वे टीम दिसंबर में आनी थी पर अब कहा जा रहा है कि यह कभी भी धमक सकती है। सफाई का आलम यह है कि यदि आज सर्वे टीम पहुंच जाए तो सफाई की पोल खुल जाएगी। ‘दैनिक भास्कर’ ने गुरुवार को कलेक्टर, कमिश्नर के बंगलों वाले लिंक रोड से लेकर ऑफिसर्स मेस, पुराना बस स्टैंड और इमलीपारा रोड जैसे व्यस्ततम क्षेत्रों का जायजा लिया, तो हालात कुछ ठीक नजर नहीं आए। मैकेनाइज्ड सफाई वाले मेन रोड की सड़कें चकाचक दिखीं पर गलियों में गंदगी पसरी रही। ऑफिसर्स मेस, पुराना बस स्टैंड, इमलीपारा रोड की नालियां बजबजाती मिलीं। बिल्लू बिलासपुरिया की धमक अयोध्या तक.. ऐसा नहीं है कि बिलासपुर नगर निगम में कुछ नहीं हो रहा है। स्वच्छता के नाम पर प्रचार, प्रसार में दिल खोल कर खर्चा किया जा रहा है। यहां तक कि सफाई व्यवस्था को घर घर पहुंचाने के लिए पंचायत क्षेत्रों के लिए इस साल 37 नई गाड़ियां खरीदी गईं, जिनसे डोर टू डोर कचरा इकट्ठा किया जा रहा है। स्वच्छता का शुभंकर ‘बिल्लू बिलासपुरिया’ को प्रचार के लिए अयोध्या और बनारस तक भेजा गया, जहां सड़क पर कचरा न फेंक कर उसे डस्टबिन में डालने का संदेश प्रचारित किया गया। टॉयलेट के रिनोवेशन पर 1.33 करोड़ और वॉल राइटिंग पर 25 लाख खर्च नगर निगम के इंजीनियर मनीष यादव की मानें तो 62 सार्वजनिक टॉयलेट को सर्वसुविधायुक्त बनाने पर 1.33 करोड़ रुपए खर्च किए जा चुके हैं। हरेक टॉयलेट में फीडबैक लेने के लिए मशीन और सेनेटरी पैड को वैज्ञानिक तरीके से नष्ट करने के लिए इंसीनरेटर लगाए जा चुके हैं। वॉल राइटिंग पर 25 लाख रुपए खर्च किए जा रहे हैं। इस बार अच्छी रैंकिंग का दावा अपर आयुक्त खजांची कुम्हार का दावा है कि इस बार के स्वच्छता सर्वेक्षण में बिलासपुर की रैंकिंग बेहतर होगी, क्योंकि रियूज वाटर के लिए ड्यूअल पाइपिंग और रेन वाटर हार्वेस्टिंग के लिए प्रावधान किया गया है। उन्होंने बताया कि हर वार्ड में स्वच्छता की मॉनिटरिंग के लिए इंजीनियर और सहायक राजस्व निरीक्षक की ड्यूटी लगाई गई है। इसी प्रकार जीएनडी वेस्ट के पुनः उपयोग के लिए तिफरा में प्लांट लगाया जा रहा है। सफाई की ऑनलाइन मॉनिटरिंग नगर निगम के हेल्थ ऑफिसर अनुपम तिवारी का कहना है कि मेन रोड सहित वार्डों की अंदरूनी गलियों की सफाई की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की जा रही है। किस वार्ड की नाली, गली में गंदगी, कचरे की सफाई के लिए कहां कितने लोग लगे हैं, इसकी निगरानी नियमित रूप से की जा रही है। उन्होंने कहा कि वार्डों की सफाई का दायित्व जोन कमिश्नरों को दिया गया है, ताकि निगम एरिया के आठों जोन को स्वच्छ रखा जा सके।