धमतरी : विशेष पिछड़ी जनजाति, दिव्यांग व थर्ड जेंडर का मताधिकार से जोड़ने निर्वाचन आयोग का फोकस

विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण की प्रगति को लेकर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने ली वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग

छत्तीसगढ़ राज्य निर्वाचन आयोग की मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी सुश्री रीना बाबासाहब कंगाले ने आज सभी जिलों के कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक लेकर वर्तमान में चल रहे विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्य की प्रगति की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने आयोग के निर्देशानुसार विशेष पिछड़ी जनजाति, दिव्यांगजन थर्ड जेंडर के नाम अभियान चलाकर जोड़ने के निर्देश दिए। साथ ही स्कूलों व कॉलेजों में अध्ययनरत 17 वर्ष से अधिक आयु वाले विद्यार्थियों की सूची तैयार कर 18 वर्ष की आयु होते ही उनका मतदाता परिचय-पत्र तैयार करने के निर्देश जिला निर्वाचन अधिकारियों को दिए। जिले के कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री पी.एस.एल्मा ने वी.सी. में शामिल होकर जिले में विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम के तहत अब तक की गई कार्रवाई के बारे में बताया।
एनआईसी के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष में आयोजित वी.सी. में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने आगामी विधानसभा निर्वाचन 2023 के परिप्रेक्ष्य में विभिन्न एजेण्डों पर चर्चा कर जानकारी देते हुए आवश्यक निर्देश सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों को दिए। उन्होंने कहा कि आगामी विधानसभा निर्वाचन में अधिक से अधिक मतदाताओं को मतदान से जोड़ना आयोग का लक्ष्य है और इसके परिपालन में सभी रिटर्निंग अधिकारियों व सहायक रिटर्निंग अधिकारियों को बेहतर ढंग से अपने दायित्वों का निर्वहन करना है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने बताया कि कोई भी पात्र मतदाता मतदान से वंचित न हो, इसके लिए विशेष पिछड़ी जनजाति, दिव्यांग और थर्ड जेंडर का मतदाता पहचान पत्र अनिवार्य रूप से बनाया जाना है। इसके लिए विधानसभावार सूची तैयार कर उनका इपिक तैयार करने के निर्देश उन्होंने दिए। साथ ही गत वर्ष विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण और वर्तमान वर्ष का तुलनात्मक अध्ययन करते हुए छूटे हुए लोगों को मताधिकार से जोड़ने की बात कही। साथ ही लिंगानुपात का भी ध्यान रखा जाए। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने कहा कि फॉर्म-6 की पेंडेंसी एक सप्ताह से अधिक नहीं होनी चाहिए, इसी तरह फॉर्म-7 का भी शीघ्रता से निराकरण करते हुए मतदाताओं को इसकी विधिवत सूचना दी जाए। इसके अलावा उन्होंने स्कूलों तथा कॉलेजों में 17 वर्ष की आयु पूर्ण कर चुके छात्र-छात्राओं की सूची तैयार करने कहा, जिससे उनका नाम जन्मतिथि के अनुसार एक जनवरी, एक अप्रैल, एक जुलाई और एक अक्टूबर की स्थिति में नवीन मतदाता के तौर पर नाम जोड़ा जा सके। इस दौरान कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि धमतरी जिले में तीन विधानसभा क्षेत्र क्रमांक-56 सिहावा, 57 कुरूद और 58 धमतरी में फॉर्म छह और सात के लिए प्राप्त आवेदन और उनके निराकरण की जानकारी मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी को दी।
उल्लेखनीय है कि 17 वर्ष से अधिक, किन्तु 18 वर्ष से कम आयु वाले स्कूली विद्यार्थियों की संख्या 11 हजार 613 है, जबकि कॉलेजों में तीन हजार 689 ऐसे विद्यार्थी वर्तमान में अध्ययनरत हैं। इसी तरह जिले में 40 प्रतिशत से अधिक दिव्यांगता वाले दिव्यांगों की संख्या लगभग 9 हजार है। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में संयुक्त कलेक्टर एवं उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री ऋषिकेश तिवारी, एसडीएम एवं रिटर्निंग अधिकारी धमतरी, नगरी तथा कुरूद सहित तहसीलदार एवं सहायक रिटर्निंग अधिकारी मौजूद थे।

बलरामपुर : 01 अप्रैल 2019 के पूर्व पंजीकृत वाहनों में हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगवाना अनिवार्य 01 अप्रैल 2019 के पूर्व पंजीकृत वाहनों में हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगवाना अनिवार्य बलरामपुर 22 जनवरी 2025/ जिला परिवहन अधिकारी ने बताया है कि कार्यालय परिवहन आयुक्त नवा रायपुर के द्वारा 01 अप्रैल 2019 के पूर्व पंजीकृत वाहनों पर हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगाये जाने के संबंध में आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश प्राप्त हुए हैं। इस संबंध में जिला परिवहन अधिकारी ने आम नागरिकों से कहा है कि जिनका भी वाहन 01 अप्रैल 2019 से पूर्व पंजीकृत है वह हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह अपने वाहन में लगवायें। अपने वाहनों में सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगवाने के लिए परिवहन विभाग के वेबसाईट सीजी ट्रांस्पोर्ट डॉट जीओव्ही डॉट ईन में जाकर ऑनलाईन आवेदन कर अपने नजदीकी वाहन डीलर से 19 मार्च 2025 तक लगवा सकते हैं। निर्धारित तिथि तक हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरणर चिन्ह नहीं लगवाने पर मोटर अधिनियम के तहत कार्यवाही की जाएगी। हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगवाने के लाभ जिला परिवहन अधिकारी ने बताया है कि हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह लगवाने से वाहन मालिकों को कई लाभ प्राप्त होते हैं। हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह नम्बर प्लेट सभी वाहन को एक यूनिक पहचान देते हैं, जिससे वाहन के मालिक का पता लगाना आसान होता है। साथ ही यह अपराधों के रोकथाम और जांच में मददगार होता है। हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रीकरण चिन्ह नम्बर प्लेट को निकाला नहीं जा सकता, जिससे वाहन चोरी होने की आशंका कम होती है। साथ ही कलर रिफ्लेक्टिव होते हैं, जिससे लाईट पड़ने पर अंक और अक्षर चमकते हैं और सीसीटीवी कैमरा में आसानी से चिन्हांकित हो जाता है।

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