हरियाणा : साइंटिस्ट ने आठ साल की बेटी का गला रेता और फिर आत्महत्या कर ली

साइंटिस्ट ने आत्महत्या से पहले अपनी आठ साल की बेटी का सर्जिकल ब्लेड से गला काट दिया, उसने अपना गला काटने के लिए भी उसी ब्लेड का इस्तेमाल किया.

चंडीगढ़: 

हरियाणा में हिसार की एक यूनिवर्सिटी कैंपस में एक साइंटिस्ट और उनकी बेटी आज शाम को साइंटिस्ट के कार्यालय के अंदर मृत पाए गए. इसके कुछ घंटों पहले साइंटिस्ट अपनी पत्नी को यह बताकर घर से निकले थे कि वे बेटी के साथ स्कूटर से कुछ दूर घूमने के लिए जा रहे हैं. आत्महत्या से पहले साइंटिस्ट ने अपनी आठ साल की बेटी का गला सर्जिकल ब्लेड से काट दिया. उसने अपना गला काटने के लिए भी उसी ब्लेड का इस्तेमाल किया.

साइंटिस्ट संदीप गोयल और उनकी बेटी के शव उनकी पत्नी को हिसार में लाला लाजपत राय यूनिवर्सिटी ऑफ वेटरनरी एंड एनिमल साइंसेज (LUVAS) के दफ्तर के अंदर मिले.

पुलिस ने बताया कि साइंटिस्ट के सहकर्मियों ने इस बात का संकेत दिया है कि वह अवसाद में था. हिसार के सहायक पुलिस अधीक्षक राजेश मोहन ने कहा, “हम उनके स्वास्थ्य की स्थिति के बारे में जानने के लिए संबंधित डॉक्टर से बात करेंगे.” उन्होंने बताया कि फोरेंसिक टीम भी घटनास्थल पर है.

संदीप गोयल हिसार के लुवास विश्वविद्यालय में साइंटिस्ट थे. वे नरवाना के रहने वाले थे और लुवास के सरकारी क्वार्टर में अपनी पत्नी के साथ रहते थे. वे शाम चार बजे पत्नी से बेटी को घुमाने की बात कहकर स्कूटी से घर से निकले थे. गोयल के वापस नहीं आने पर उनकी पत्नी उनको विश्वविद्यालय में ढूंढने के लिए गई. इस दौरान डिपार्टमेंट ऑफ वेटरनरी सर्जरी और रेडियोलॉजी ऑफिस के बाहर संदीप की स्कूटी दिखाई दी. वे संदीप के ऑफिस में गईं तो देखा कि अंदर से कुंडी बंद है.

संदीप की पत्नी ने ऑफिस के अंदर की कुंडी बंद होने की सूचना सिक्योरिटी गार्ड को दी. इसके बाद सिक्योरिटी गार्ड ने खोलने का प्रयास किया लेकिन गेट नहीं खुला. इसके बाद एचपीयू स्थित चौकी को मामले की सूचना दी गई. गेट तोड़कर देखा तो दोनों पिता-पुत्री खून से लथपथ हालत में पड़े हुए थे. मामला गंभीर होने से एसपी मोहित हांडा, एसपी राजेश मोहन, रजिस्ट्रार देवेंद्र कुमार, डीएसपी विजयपाल मौके पर पहुंचे.

मृतक डॉ संदीप गोयल वर्ष 2016 प्रोफेसर असिस्टेंट  के तौर पर लुवास विश्वविद्यालय में भर्ती हुए थे. डॉ संदीप के पिता नरवाना में मुनीम का काम करते हैं. वे अपने माता-पिता के इकलौते पुत्र थे.

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